अल्मोड़ा वरिष्ठ ज्योतिषाचार्य पंडित डा मदन मोहन पाठक ने बताया कि शनिदेव की क्रूर दृष्टि के प्रभाव को सभी व्यक्ति भली भांति जानते हैं कृष्ण वर्ण यमराज के भ्राता और सूर्यपुत्र शनि देव ने ईश्वरीय अवतार तक को अपने प्रचंड तेज से विचलित कर दिया आम आदमी की तो बात ही क्या जिस जातक पर इनकी कोप दृष्टि पड़ी वह मानव परेशानी की एक लंबी श्रृंखला में उलझ गया शारीरिक कष्ट धन हानि प्रतिष्ठा की कमी दुष्ट धूर्त लोगों से मिलन कार्यों में कदम कदम पर रुकावट दरिद्रता मतिभ्रम और शत्रुओं से गिर जाना आदि कष्ट इस प्रचंड ग्रह शनि की क्रोध के सहज प्रभाव हैं शनि देव की साढ़ेसाती ढैया और महादशा से बचने हेतु कुछ उपाय बताए जा रहे हैं यूं तो शनिदेव को न्याय का देवता माना जाता है शनिदेव अपनी क्रूरता कठोरता के लिए प्रख्यात है शनि की क्रूर दृष्टि का प्रभाव सर्वविदित है इसमें आक्रोश व्यक्ति अभिशाप की श्रृंखला में घिर जाता है शारीरिक मानसिक कष्ट धन हानि सम्मान में कमी विरोधी कार्य पलायन निष्कासन कारावास दरिद्रता शत्रुभई आदि दुख स्थितियां शनि ग्रह की दशा में आ खड़ी होती हैं शनि पीड़ित व्यक्ति को दुर्भाग्य का असाध्य रोगी कहा जा सकता है भले ही अन्य ग्रहों का प्रभाव अवलंब देता रहे किंतु शनि का संत्रास उसे अवश्य ही भोगना पड़ेगा सनी की शांति के संदर्भ में किसी योग्य ज्योतिर्विद के समक्ष जाकर कुछ शांति के उपाय पूछनी चाहिए और श्रद्धा भक्ति पूर्वक उन उपायों को करना चाहिए शनि शांति के अनेक उपाय हैं जिसमें नीलम रत्न धारण करना लोहा उड़द कुलथी कस्तूरी काले वस्त्र कंबल काली गाय जूते भैंस काले पुष्प आदि का दान करने से प्रायः शनि के प्रकोप से शांति होती है शनि का दान जो लेते हैं उन्हें ही दान की वस्तुएं देने का विधान शास्त्र में बताया गया है उपरोक्त दान देने के अतिरिक्त शनि की बाधा दूर करने के लिए सूरमा काले तिल नागरमोथा एवं लोहा मिले हुए जल से स्नान किया जा सकता है इससे भी शनि के प्रभाव से बचा जा सकता है आंखों में सुरमा लगाना तेल की मालिश करना भी लाभप्रद है शनि साधना शुद्ध भाव से शुद्ध अंतःकरण से शनि महाराज की आराधना उपासना भी की जा सकती है इसके माध्यम से भी शनि के प्रकोप से बचा जा सकता है कुछ लोग शनिदेव के उपवास ले लेते हैं उपवास लेने से भी शनिदेव की प्रसन्नता आप प्राप्त कर सकते हैं इसके अलावा पीपल वृक्ष में जल चढ़ाना जल चढ़ाते समय साथ परिक्रमा करना और जल चढ़ाना और ॐ शं शनैश्चराय नमः इस मंत्र का जप करना इससे भी शनि की दशा कम होती है अंगहीन असहाय ऐसे व्यक्तियों को दान देने से भी शनि की का अनुग्रह प्राप्त होता है शनि साधना में श्याम वर्ण अथवा गहरे नीले वर्ण की सामग्री प्रयुक्त होती है यह वस्तुएं लोहा उड़द कड़वा तेल काला वस्त्र काले अथवा पीले रंग के पुष्प श्यामली गाय काली कास्ट को की चरण पादुका धारण कर और रुद्राक्ष धारण कर जब करने से भी शनि की कृपा दृष्टि प्राप्त होती है शनि का मंत्र ॐ शन्नो देवी विस्टियों आपो बहुत पीते यह संयोग अभी सुना इस मंत्र का भी जब किया जा सकता है ॐ शं शनैश्चराय नमः इस मंत्र के जाप से शीघ्र लाभ होता है ब्रह्मा विष्णु सप्त ऋषि इन सब पर भी जब आपकी दृष्टि जाती है तो यह सब अपने पदों से च्यूत हो जाते हैं देश नगर गांव द्वीप तथा वृक्ष आदि भी आपकी दृष्टि पड़ने से समूल नष्ट हो जाते हैं अतः हे सूर्यपुत्र हमारे ऊपर प्रसन्न होकर आप हमारे जीवन में सुख शांति और समृद्धि प्रदान करें।

